राहुल का भाषण मुख्य रूप से डोनाल्ड ट्रंप के युद्ध विराम के दावे और सीजफायर की रणनीति पर केंद्रित हो गया. जनता को राहुल से उम्मीदें थीं कि वो ऑपरेशन सिंदूर के दौरान जो कमियां उभर कर सामने आईं हैं, उनकी चर्चा करेंगे. पर राहुल वही घिसा पिटा पुराना डिमांड रखते नजर आए.